कानपुर के हेड कांस्टेबल के बेटे ने लगन, मेहनत और स्व-अध्ययन से आईपीएस बनकर सफलता प्राप्त की।
अपनी लगन, मेहनत और स्व-अध्ययन से विशाल ने सफलता प्राप्त की। बिना कोचिंग के 22 साल के विशाल दुबे ने अपने पहले प्रयास में ही संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित सिविल सेवा परीक्षा में सफलता हासिल की। उन्होंने 296 वीं रैंक प्राप्त की है।
फर्रुखाबाद के नीम करोरी निवासी संजय दुबे यूपी पुलिस में कानपुर के बिल्हौर एसीपी कार्यालय में हेड कांस्टेबल हैं। विशाल दुबे इनका ही बेटा हैं। विशाल बचपन से ही पढ़ाई-लिखाई में तेज था। सैनिक स्कूल नैनीताल और मिलिट्री स्कूल बेंगलुरु दोनों ही स्थानों पर कक्षा छठी के लिए उनका चयन हो गया था। परिवार की आर्थिक स्थिति को देखते हुए उन्होंने मिलिट्री स्कूल बेंगलुरु का चयन किया, क्योंकि वहाँ की फीस कम थी। कक्षा ग्यारहवीं में एनडीए की परीक्षा पास कर ली थी। कक्षा बारहवीं की पढ़ाई के साथ CLAT और NDA की परीक्षा दोबारा पास कर ली थी।
आगरा के सेंट जोंस कॉलेज से स्नातक किया उसके उपरांत 2022 में वह दिल्ली जाकर UPSC की तैयारी में जुट गया। बिना कोचिंग के पहले प्रयास में ही 296 वीं रैंक लाकर पूरे परिवार को गर्वित किया है।
बेटे के आईपीएस बनने से माता-पिता खुशी से फूले नहीं समा रहे हैं, बहन की खुशी भी छलकी पड़ रही है। पिता हेड कांस्टेबल उस अनमोल पल की प्रतीक्षा में है, जब वे अपने बेटे को सैल्यूट करेंगे। एक पिता के लिए इससे बड़ी कोई खुशी होती भी नहीं है कि उसका बेटा उससे आगे निकल जाए और उच्च पद प्राप्त करे।
परिवार को बधाई देने वालों का ताँता लगा हुआ है और परिवार का सिर गर्व से ऊँचा हो रहा है।
पिता : संजय दुबे
निवासी : फर्रुखाबाद के नीम करोरी
हेड कांस्टेबल, बिल्हौर एसीपी कार्यालय कानपुर
Vishal Dubey (AIR - 296) || UPSC CSE 2023 || Mock Interview || Rank - 296


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